नई दिल्ली। कृषि कानूनों के खिलाफ किसान प्रदर्शनकारी आज 17वें दिन दिल्ली बाॅर्डर पर डटे हुए हैं। आंदोलनकारी किसान संगठनों ने आज दिल्ली-जयपुर और दिल्ली-आगरा हाईवे समेत दिल्ली के कई रास्तों को बंद करने का ऐलान किया है। किसान मज़दूर संघर्ष कमेटी पंजाब के सुखविंदर सिंह सभरा ने फिर कहा है कि आंदोलन और मजबूत होगा, कल अमृतसर से ट्रैक्टर निकले। राजस्थान, महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश से ट्रैक्टर आ रहे हैं।
किसान मजदूर संघर्ष समिति (केएमएससी) के अनुसार, 1300 टैक्टर ट्रालियों में भर कर आंदोलनकारियों का नया जत्था दिल्ली के रास्ते में है। इसमें 1000 गांवों के करीब 1500 गाड़ियां शामिल हैं। यह नई पलटन जल्दी ही दिल्ली सीमा सिंघु बार्डर पहुंच जाएगी। केएमएससी का कहना है कि इस पूरे काफिले में तकरीबन 30000 प्रदर्शनकारी शामिल हैं। इसके अलावा तकरीबन 1000 कारों से भी लोग आ रहे हैं।
बीते 9 दिसंबर को सरकार द्वारा भेजे गए सुलह के प्रस्ताव को रद्द करने के बाद किसान संगठनों ने 12 दिसंबर को दिल्ली-आगरा और दिल्ली-जयपुर हाईवे को बंद करने का ऐलान किया था। किसान नेताओं ने कहा है कि अभी तक उनका आंदोलन दिल्ली की सीमाओं पर था, लेकिन अब यह पूरे देश में चलाया जाएगा।
किसानों की चेतावनी के बीच दिल्ली के पुलिस कमिश्नर शुक्रवार रात को अचानक सुरक्षा व्यवस्था का जायजा लेने टीकरी बॉर्डर पहुंचे। यहां बॉर्डर पर मौजूद सुरक्षाकर्मियों से मुलाकात की। केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने किसान संगठनों के नेताओं से प्रस्ताव पर विचार करने का आग्रह किया है और कहा कि वह किसानों के साथ बातचीत करने के लिए तैयार हैं।
दिल्ली-जयपुर हाईवे पर भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। गुरूग्राम पुलिस के 2000 से ज़्यादा जवानों की तैनाती की गई है। कोंडली-मानेसर-पलवल चौराहे पर सबसे ज़्यादा पुलिस बल लगाया गया है। पुलिस ने 5 महत्वपूर्ण स्थानों की पहचान करके तैनाती की है।