नई दिल्ली। भारतीय वायुसेना की परिचालन क्षमता में और इजाफा करने के उद्देश्य से भारतीय वायु सेना के लिए हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) से छह डोर्नियर-228 विमान खरीदे जायेंगे।
रक्षा मंत्रालय ने ट्वीट कर बताया कि HAL के साथ 667 करोड़ रुपये की लागत वाले इस सौदे के अनुबंध पर हस्ताक्षर किए। इस विमान का उपयोग वायु सेना ट्रांसपोर्ट रोल और परिवहन पायलटों को प्रशिक्षण देने के लिए करेगी।
डोर्नियर-228 एक ट्विन-टर्बोप्रॉप शॉर्ट टेक-ऑफ और लैंडिंग यूटिलिटी विमान है, जिसे भारतीय तटरक्षक बल, भारतीय वायु सेना और भारतीय नौसेना के लिए हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड ने द्वारा निर्मित किया गया है।
HAL ने डोर्नियर 228 को ‘अत्यधिक बहुमुखी बहुउद्देश्यीय हल्के परिवहन विमान’ के रूप में वर्णित किया है। यह विमान उपयोगिता के मामले में कम्यूटर परिवहन, तीसरे स्तर की सेवाओं, एयर-टैक्सी संचालन, तट रक्षक कर्तव्यों और समुद्री निगरानी जैसी आवश्यकताओं को पूरा करेगा।
इसका प्रयोग प्रदूषण निवारण, सैनिकों के परिवहन, हवाई सर्वेक्षण, खोज और बचाव, कार्गो और रसद सहायता के लिए भी किया जा सकता है।
विमान का कॉकपिट चालक दल के दो सदस्यों को समायोजित करने के लिए डिज़ाइन किया गया है और वातानुकूलित केबिन में 17 यात्री बैठ सकते हैं। विमान का पंख 16.97 मीटर, कुल लंबाई 16.56 मीटर और कुल ऊंचाई 4.86 मीटर है।
The MoD has signed a contract for six upgraded Dornier-228 aircraft for IAF from HAL at a cost of ₹667 Cr. The Dornier-228 aircraft to further bolster IAF op-capability from remote areas with short/ semi-prepared runways. pic.twitter.com/8FYFv77j6G
— रक्षा मंत्री कार्यालय/ RMO India (@DefenceMinIndia) March 10, 2023
डोर्नियर-228 को औपचारिक तौर से जनवरी, 2020 में किया था शामिल –
भारतीय वायु सेना के बेड़े में हल्के यूटिलिटी विमान डोर्नियर-228 औपचारिक तौर से जनवरी, 2020 में शामिल किये गए थे।
आईएएफ ने साल 2015 में 14 डोर्नियर-228 विमान खरीदने के लिए हिन्दुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) के साथ करार किया था। वायुसेना को पहला विमान 19 नवम्बर, 2020 को सौंपा गया था। इसका निर्यात सेशल्स और मॉरीशस को भी किया गया है।
50 यूटिलिटी विमान डोर्नियर-228 सेवा में –
जर्मन कम्पनी डोर्नियर ने 245 और हिन्दुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड ने 125 हल्के यूटिलिटी विमान डोर्नियर-228 विमान बनाए हैं। वायुसेना के पास इस समय 50 यूटिलिटी विमान डोर्नियर-228 सेवा में हैं।
वायुसेना के अलावा इंडियन कोस्टगार्ड और नौसेना भी इन विमानों का इस्तेमाल करती है। अब नए सौदे में 667 करोड़ रुपये की लागत से छह विमानों की नई खेप उन्नत ईंधन-कुशल इंजन के साथ पांच ब्लेड वाले समग्र प्रोपेलर के साथ खरीदी जाएगी।
यह विमान उत्तर पूर्व के अर्ध-तैयार या लघु रनवे और भारत की द्वीप श्रृंखलाओं से छोटी दूरी के संचालन के लिए अनुकूल हैं।