रायपुर। राज्य में एक बार फिर केंद्रीय जांच एजेंसियों की दस्तक सुनाई दी है। इस बार कार्रवाई मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की उप सचिव और करीबी अफसर बताई जाने वाली सौम्या चौरसिया पर हुई है। प्रवर्तन निदेशालय ने सौम्या चौरसिया को गिरफ्तार कर लिया है। एजेंसी ने उनकी 14 दिन की रिमांड मांगी है।
खनन मामले केंद्रीय जांच एजेंसियों के रडार पर रहने वाली मुख्यमंत्री बघेल की उप सचिव सौम्या चौरसिया को अंततः गिरफ्तार कर लिया गया। इससे पहले मुख्यमंत्री भूपेश बघेल केंद्रीय जांच एजेंसियों की कार्रवाई को बर्दाश्त न करने की चेतवानी दे चुके हैं।
हालांकि बघेल ईडी की इस कार्रवाई को नहीं रोक सके। ईडी की कार्रवाई से पहले आयकर विभाग ने सौम्या की संपत्तियों पर छापा मारा था। वहीं बाद में कोयला एक्सटॉर्शन केस में ईडी ने उन्हें तलब किया और बाद में अब उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। सीएम बघेल की गरीबी अफसर कही जाने वालीं सौम्या की गिरफ्तारी के बाद अब तक उनका कोई बयान नहीं आया है।
केंद्रीय जांच एजेंसियां पिछले दो महीनों में सौम्या से कई बार पूछताछ कर चुकी है। राज्य में सत्ताधारी दल कांग्रेस लगातार इसे बदले की कार्रवाई बताती रही है।
इससे पहले वे जरूर केंद्रीय एजेंसियों को निशाने पर लेते रहे हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने केंद्रीय जांच एजेंसियों को कई बार चेतावनियां जारी कर चुके है। उन्होंने कहा था कि जांच अधिकारियों द्वारा प्रदेश के नागरिकों डराया धमकाया जा रहा है।
इतना ही नहीं हाल ही में उन्होंने यह तक कहा कि यदि जांच एजेंसी अवैध तरीके से लोगों को परेशान करेगी तो प्रदेश की पुलिस को उनके खिलाफ कार्रवाई करने को मजबूर हो जाएगी। बहरहाल, सौम्या चौरसिया की गिरफ्तारी के बाद प्रदेश की सियासत गर्म हो गई है।