इंदौर। इंदौर स्पाइनल वेलफेयर सोसाइटी द्वारा एक सालाना कार्यशाला का आयोजन किया जा रहा है। इस कार्यक्रम की थीम ‘लाइव ऑपरेटिव वर्कशॉप ऑन एंडोस्कोपिक स्पाइन सर्जरी’ – ऑल 360 एप्रोच टू एंडोस्कोपिक डिकम्प्रेशन रखी गई है। यह आयोजन 20-21 अगस्त 2022 को किया जाएगा। इस दो दिवसीय वर्कशॉप के दौरान कुल 7-8 सर्जरी की जाएंगी और ये सभी सर्जरी सहज हॉस्पिटल में होंगी। जिनका सीधा प्रसारण होटल लेमन ट्री में बैठे डॉक्टरों और दूसरे विशषज्ञों को दिखाया जाएगा।
इंदौर स्पाइनल वेलफेयर सोसाइटी द्वारा आयोजित की जा रही इस वर्कशॉप में शामिल होने देशभर से स्पाइन सर्जन पहुंच रहे हैं। वर्कशॉप के कोर्स चेयरमैन डॉ. गिरीश दातार (मिराज) और कोर्स डायरेक्टर तथा ऑर्गेनाइज़िंग सेक्रेटरी डॉ. प्रसाद पाटगांवकर हैं। वर्कशॉप में कोर्स कोऑर्डिनेटर डॉ. वैभव गोयल हैं।
दो दिवसीय इस वर्कशॉप में देशभर से ख्यात स्पाइन सर्जन्स फैकल्टीज़ के तौर पर शामिल हो रहे हैं। कोर्स डायरेक्टर एवं ऑर्गेनाइज़िंग सेक्रेटरी डॉ. प्रसाद पाटगांवकर ने बताया कि मुख्य रूप से डॉ. सुकुमार सुरा (हैदराबाद), डॉ. महेश (मंगलौर), डॉ. पलानीकुमार (इरोड, तमिलनाडु), डॉ. प्रमोद लोखंडे (पुणे), डॉ. कल्याण बोम्माकान्ती (हैदराबाद) और डॉ. सुबोध बोरले (बुरहानपुर) वर्कशॉप में शामिल हो रहे हैं।
सेंट्रल इंडिया में अपनी तरह की इस पहली वर्कशॉप में देशभर से 100 से ज्यादा डेलीगेट्स ( आर्थोपेडिक स्पाइन सर्जन, न्यूरो सर्जन, पैन फिजिशियन ) शामिल होने जा रहे हैं। इसमें जम्मू कश्मीर, उत्तराखंड, दिल्ली, अरुणाचल प्रदेश, गुजरात, राजस्थान, महाराष्ट्र, आंध्रप्रदेश, तमिलनाडु सहित अन्य प्रदेशों के डेलीगेट्स रहेंगे। इसके अलावा इंटरनेशनल डेलिगेट्स दुबई, केन्या, इंडोनेशिया और इराक से शामिल होने पहुंचेंगे।
हर सेशन में होगी एक लाइव एंडोस्कोपिक सर्जरीः दो दिन चलने वाली इस वर्कशॉप के दौरान कुल 7 से 8 सेशन आयोजित किए जाएंगे। हर सेशन के दौरान तकनीक आधारित लेक्चर होने के साथ ही एक लाइव एंडोस्कोपिक सर्जरी भी की जाएगी।
वर्कशॉप के डेलिगेट्स स्पाइन सर्जरी से जुड़ी वर्तमान में प्रयोग में लाई जा रही लोकल एनेस्थिसिया के साथ होने वाली स्पाइन सर्जरी और डे केयर स्पाइन सर्जरी की आधुनिक तकनीक सीखेंगे। डे केयर सर्जरी में ऑपरेशन के दिन से ही मरीज चलना शुरू कर देता है और 24 घंटे के अंदर उसे घर ले जाया जा सकता है।
वर्कशॉप में होगा एंडो फ्यूजन प्रोसीजरः वर्कशाप की शुरुआत 20 अगस्त (शनिवार) को सुबह 9 बजे से होगी और पहला सेशन इंटर लेमिनार इंडोस्कोपिक स्पाइन सर्जरी का रहेगा। डॉ. प्रसाद पाटगांवकर ने बताया कि वर्कशॉप में पहली बार एंडो फ्यूजन प्रोसीजर का प्रयोग किया जाएगा। इसमें ओपन सर्जरी के बजाय छोटे चीरे लगाकर स्क्रू इंप्लांट किये जाते हैं और दूरबीन की मदद से हड्डियों के बीच में सहारा देने के लिए कैज लगाया जाता है।
30 फीसदी खर्च में ही होगी मरीजों की सर्जरीः दो दिन चलने वाली वर्कशॉप के दौरान कुल 7 से 8 सर्जरी की जाएंगी। सर्जरी कराने के लिए एक महिला मरीज अरुणाचल प्रदेश से भी आ रही हैं। आमतौर पर एंडोस्कोपिक स्पाइन सर्जरी का खर्च लगभग 1.50 लाख रुपये तक आता है लेकिन वर्कशॉप में होने वाली सभी सर्जरी का खर्च सिर्फ 50 हजार रुपये तक आएगा।
एंडोस्कोपिक स्पाइन सर्जरी के फायदे
ओपन सर्जरी के साथ अब एंडोस्कोपिक सर्जरी के प्रति मरीजों का रूझान भी काफी बढ़ने लगा है। ओपन सर्जरी के मुकाबले एंडोस्कोपिक स्पाइन सर्जरी में मरीज की रिकवरी काफी कम वक्त में हो जाती है। इसके साथ ही रिवीजन सर्जरी में भी खतरा काफी कम रहता है। एंडोस्कोप से सर्जरी करने की वजह से नसें अपने सामान्य आकार से 25 गुना तक ज्यादा बढ़ी दिखाई देती हैं, जिससे उनमें चोट पहुंचने की आशंका भी काफी कम हो जाती है। एंडोस्कोपिक स्पाइन सर्जरी में ब्लड लॉस भी नहीं होता है.