अध्ययन में पाया गया कि यूएलबी के स्टाफ सदस्यों को प्रदूषण कम करने में उनकी भूमिका के बारे में अपर्याप्त ज्ञान और समझ है। नतीजतन, वे अपने काम के प्रति एक आकस्मिक दृष्टिकोण…
बहुपक्षीय विकास बैंकों को साफ संदेश दिया गया कि वह विकासशील देशों को कर्ज में डूबने के लिए मजबूर किए बिना उन्हें अधिक जलवायु वित्त प्रदान करें
वैश्विक कोयला उत्सर्जन को तेजी से कम करने के लिए क्या करना होगा, तो यह रिपोर्ट अब तक का सबसे व्यापक विश्लेषण प्रदान करती है
इसके साथ भारत हुआ उन 60 देशों की विशिष्ट सूची में शामिल जिन्होंने अब तक सौंपे हैं यूएनएफसीसीसी को अपनी रणनीति
सेमिनार में देश के ख्यातिलब्ध इंजीनियर्स और विशेषज्ञों ने व्याख्यान दिए तथा विचारों का सार्थक आदान-प्रदान हुआ।
प्रदूषण का एक्यूआई लेवल बढ़ने के बाद भी लोग कचरे और खेतों में धान के अवशेष जलाने से रुक नहीं रहे हैं। बेशक सरकार इस समय खेतों में जलने वाले अवशेषों को रोकने…
सुबह धूप निकलने पर धूल के कण वायुमंडल में चले जाते हैं इसलिए अकसर सर्दियों में रात में प्रदूषण ज्यादा व दिन में कम हो जाता है।
चीन भारत से 4-5 गुना अधिक कोयले की खपत करता है, लेकिन भारत न जाने क्यों कोयले के उपभोग का वैश्विक चेहरा बनने पर आमादा सा दिखता है।
गैसों के वायुमंडलीय कौन्सेंट्रेशन की माप बीते चालीस सालों से हो रही है और यह उछाल बीते 40 साल में सबसे बड़ी है।
ताज़ा संकेतकों से पता चला है कि सरकारें और कंपनियां जलवायु परिवर्तन के गंभीर और जटिल स्वास्थ्य नुकसान के बावजूद जीवाश्म ईंधन को प्राथमिकता देना जारी रखे हुए हैं।
ब्लूप्रिंट के साथ-साथ दिल्ली के नागरिक ग्रीन सेस फंड और अन्य बजट प्रावधानों के उपयोग में भी पारदर्शिता चाहते हैं।
इस सर्वे में शामिल 64% लोगों का कहना है कि भारत सरकार को ग्लोबल वार्मिंग से निपटने के लिए और अधिक प्रयास करने चाहिए।
जलवायु कार्यवाही की वैश्विक नीति निर्माण के इस शीर्ष मंच में भारतीय पवेलियन में छाया रहेगा प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा ग्लासगो में हुई पिछली सीओपी में दिया गया जलवायु कार्यवाही का बीज…
पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने लोगों से सादगी से दिवाली मानने और आतिशबाजी न करने की अपील की है। उन्होंने कहा कि लोग घरों में दिए जलाएं लेकिन पटाखे न जलाएं।
भविष्य की 'गैस-आधारित अर्थव्यवस्था' के लिए, केंद्र का लक्ष्य प्राथमिक ऊर्जा विकल्पों में प्राकृतिक गैस की हिस्सेदारी को मौजूदा 6.7 प्रतिशत से 2030 तक दोगुना करके 15 प्रतिशत करना है।
नगरीकरण तेजी से बढ़ रहा है और ऐसी उम्मीद है कि वर्ष 2050 तक दुनिया की आधी से ज्यादा आबादी शहरों में बस जाएगी।
नीतियों एवं प्रौद्योगिकी के स्तर पर उपजी बाधाओं के मामले में भारत में भी बड़े बिजनेस लीडर्स व समूह सर्वेक्षण में शामिल अन्य देशों के ही समकक्ष खड़े हैं।
अगर ऊर्जा क्षेत्र में कोयले पर निर्भरता चरणबद्ध तरीके से की जाती है कम तो साल 2050 तक हो सकती है बिजली की कीमत आधी
केंद्र और राज्य सरकारें सही दिशा में काम करें तो वर्ष 2026 तक वायु ऊर्जा देश की कुल स्वच्छ ऊर्जा क्षमता में कर सकती है 23.7 गीगावॉट वृद्धि में मदद
मप्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के सर्वे में मिली जानकारी, बेकरियों से क्षतिपूर्ति की राशि वसूली होगी, मप्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा किए गए सर्वे में सामने आई हकीकत, नियकों को ताक में रखकर…