नई दिल्ली। पंजाब में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा में हुई चूक के बाद राजनीति गर्म है। भारतीय जनता पार्टी के नेता आरोप लगा रहे हैं कि कांग्रेस के राज में प्रधानमंत्री के खिलाफ़ साज़िश रची गई और उनकी जान ख़तरे में डाली गई वहीं कांग्रेसी इन आरोपों को नकारते हुए बता रहे हैं कि रैली की खाली कुर्सियां देख मोदी वहां नहीं गए।
राजनीतिक बयानबाज़ी के बीच सोशल मीडिया पर भी यह दोनों ही मुद्दे ट्रेंड कर रहे हैं और पिछले कुछ घंटों में ही इन ट्रैंड्स पर लाखों ट्वीट्स हो चुके हैं।
गुरुवार सुबह भी ट्विटर पर पंजाब में प्रधानमंत्री की पंजाब यात्रा से जुड़े ये दोनों ही पक्ष ही छाए रहे। एक ओर जहां कांग्रेसी सर्मथकों और मोदी विरोधियों की ओर से #ModiRunsAway चलाया जा रहा था तो वहीं भाजपा और प्रधानमंत्री मोदी के सर्मथक #PresidentRuleInPunjab ट्रेंड करवा रहे हैं और इसे भी काफी सर्मथन मिल रहा है।
इस दौरान कई वीडियो पोस्ट किये जा रहे हैं और इनके माध्यम से पंजाब में कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए जा रहे हैं। यहां एक वीडियो में दिखाया जा रहा है कि कैसे मोटरसाइकलों पर सवार कुछ युवा ख़ालिस्तान ज़िंदाबाद के नारे लगाते हुए हाईवे पर जा रहे हैं। यह वीडियो बुधवार का ही बताया जा रहा है। हालांकि इस वीडियो की सत्यता की पुष्टी नहीं की जा सकती है।
Why Did The Congress Government Not Arrest Those Who Raised Slogans Of Khalistan Zindabad Yesterday ? #PresidentRuleInPunjab pic.twitter.com/AxCcRtjRvh
— Narendra Modi fan (@narendramodi177) January 6, 2022
इस तरह के वीडियो और प्रधानमंत्री की सुरक्षा में दिखाई दी लापरवाही से संबंधित पोस्ट को देखकर लोग मांग पंजाब में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग कर रहे हैं। ऐसे में सीधे तौर पर पंजाब सरकार को कानून व्यवस्था संभालने में नाकाबिल बताया जा रहा है।
मैं पंजाब में राष्ट्रपति शासन लागू करने की मांग करता हूँ #PresidentRuleInPunjab
— अखिलेश सिंह राजपूत 🇮🇳🚩 (@BJPKaSevak) January 6, 2022
वहीं #ModiRunsAway चलाने वाले मोदी और भाजपा विरोधी प्रधानमंत्री की रैली को मिले कमज़ोर जनसर्मथन की बात कह रहे हैं। इसके साथ ही वे प्रधानमंत्री को किसानों के विरोध से डरा हुए बता रहे हैं। ऐसे में ज़ाहिर है कि प्रधानमंत्री मोदी की रद्द हुई रैली को किसान आंदोलन का असर बताया जा रहा है क्योंकि उनका रास्ता रोकने वाले किसान ही बताए गए हैं।
इसके साथ ही कांग्रेस के द्वारा एक और हैशटैग ट्रैंड करवाया जा रहा है। इसके तहत रैली की खाली कुर्सियां दिखाई जा रहीं हैं। #साहेब_के_लिए_अंगूर_खट्टे प्रधानमंत्री मोदी और भाजपा पर आरोप लगाया जा रहा है कि सुरक्षा का बहाना बनाकर कमजोर जनसर्मथन को दबाने के लिए सत्तारुढ़ दल के द्वारा यह आरोप लगाए जा रहे हैं।