मध्य प्रदेश में कांग्रेस पार्टी अपने सबसे खराब दौर से गुजर रही है। प्रदेशाध्यक्ष बनाए जाने के बाद जीतू पटवारी लगातार अंदरूनी विरोध झेलते रहे हैं और अब वे कुछ हद तक संभल रहे हैं। ऐसे में पटवारी की मंशा फिलहाल कांग्रेस को जमीनी स्तर पर मजबूत करने की दिखाई देती है। मप्र में कांग्रेस जमीनी संगठन एक तरह से जर्जर हालात में है। जमीन पर काम करने वाली कुछ प्रमुख इकाईयों में प्रदेश कांग्रेस सेवादल अहम है। ऐसे में अब तैयारी सेवादल को मजबूत करने की बताई जा रही है। कम से कम कांग्रेस की ओर से तो यही कहा जा रहा है। इसी सिलसिले में गुरुवार को पीसीसी मुख्यालय में कांग्रेस सेवादल की प्रदेश स्तरीय बैठक आयोजित की गई।
बैठक के दौरान जीतू पटवारी ने सेवादल की खूब तारीफ की और कहा कि कांग्रेस सेवादल समर्पण और प्रतिबद्धता का प्रतीक है, और हमारा उद्देश्य है कि इसे बूथ स्तर तक मजबूत किया जाए। उन्होंने बताया कि प्रदेश में सेवादल की इकाइयाँ सक्रिय हैं और हर जिले में सेवादल के कार्यकर्ता पार्टी के लिए काम करते हुए नजर आ रहे हैं।
पटवारी ने कहा कि भाजपा के शासन में मध्य प्रदेश में अराजकता का माहौल है, जिससे महिलाएं, किसान, युवा सभी परेशान हैं। बेरोजगारी और महंगाई ने प्रदेश को त्रस्त कर दिया है। उन्होंने सेवादल के कार्यकर्ताओं से अपील की कि वे अनुशासन और सम्मान के साथ जनता के बीच जाकर भाजपा सरकार की नीतियों को उजागर करें और कांग्रेस पार्टी की नीतियों और संविधान के बारे में जानकारी दें। उन्होंने यह भी कहा कि जनता अब भाजपा की झूठ और फरेब से तंग आ चुकी है, और कांग्रेस का समय आ रहा है।
AICC के सचिव सी.पी. मित्तल ने इस अवसर पर कहा कि देश की आजादी में सेवादल की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। उन्होंने सेवादल की स्थापना के उद्देश्यों पर जोर देते हुए कहा कि स्वतंत्रता सेनानियों और क्रांतिकारियों के परिवारों की मदद करने और उन्हें संरक्षण देने के उद्देश्य से इस संगठन की स्थापना की गई थी, और सेवादल इस उद्देश्य में पूरी तरह सफल रहा है। उन्होंने योगेश यादव के नेतृत्व की सराहना की, जिन्होंने अपने जीवन को सेवादल के लिए समर्पित किया है और आज भी उसी जोश के साथ कार्य कर रहे हैं।
मध्य प्रदेश कांग्रेस सेवादल के अध्यक्ष योगेश यादव ने स्वागत भाषण में पिछले छह महीनों की गतिविधियों का जिक्र करते हुए बताया कि अगले छह महीनों में प्रदेश स्तरीय एक बड़ा सम्मेलन आयोजित किया जाएगा। इसके अलावा, सभी जिलों में एक दिवसीय कार्यशालाओं का आयोजन और भ्रष्टाचार के खिलाफ प्रदेशव्यापी आंदोलन किया जाएगा।