अविश्वास प्रस्ताव पर मुख्यमंत्री शिवराज का भाषण, गिनाईं सरकार की उपलब्धियां


विधानसभा में बुधवार देर रात तक जारी रही अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा, कमलनाथ रहे अनुपस्थित


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राजनीति Published On :
CM Shivraj singh chauhan in Vidhan sabha on No confidence motion

भोपाल। विधानसभा में शिवराज सरकार के खिलाफ कांग्रेस द्वारा लाए पेश किए गए अविश्वास प्रस्ताव पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान अपना जवाब दे रहे हैं। मुख्यमंत्री ने अपनी सरकार की उपलब्धिया गिनाईं। इस दौरान भी हल्की-फुल्की नोंक-झोंक भी हुई। इस बीच उन्होंने कोरोना को लेकर किए गए काम पर भी बात की। वहीं जनजातीय समुदाय के लिए किये जा रहे कार्यों को लेकर भी अपनी पीठ थपथपाई।

 

इस बीच भी विपक्ष की ओर से हंगामा जारी रहा। इससे पहले अविश्वास प्रस्ताव पर बुधवार रात एक बजे तक चर्चा हुई। इस दौरान सदन में तीखी नोकझोंक और बीच-बीच में हंगामा भी होता रहा। हालांकि इस दौरान कमलनाथ सदन में मौजूद नहीं रहे। इससे कांग्रेसी खेमे का मनोबल कुछ कमज़ोर भी लगा। बहस के दौरान सदन में जय श्री राम और जय जय सियाराम के नारे भी रह-रहकर गूंजते रहे। इस दौरान सदन में नेताओं के बीच बयानबाजी और इससे उपजी नाराजगी इस कदर बढ़ी कि  इस दौरान  कांग्रेस ने मां सीता पर मंत्री मोहन यादव के बयान पर विरोध जताते हुए वॉकआउट कर दिया।

 

देर रात कांग्रेस विधायक नारेबाजी करते हुए सदन से बाहर आए और गांधी प्रतिमा के पास एकत्र होकर धरने पर बैठ गए। गांधी प्रतिमा के सामने बैठकर कांग्रेस सदस्यों ने मंत्री मोहन यादव के खिलाफ नारेबाजी की साथी ही राम धुन भी गाई। विधानसभा में कांग्रेस मांग कर रही थी कि मंत्री मोहन यादव अपने विवादित बयान को लेकर देशभर से माफी मांगें।

विपक्षी सदस्यों ने सूबे में कानून व्यवस्था, बेरोजगारी, महंगाई, भ्रष्टाचार, विपक्षी दलों के विधायकों के खिलाफ भेदभाव, महिलाओं और आदिवासियों के खिलाफ अत्याचार, किसान की बढ़ती समस्याओं और अन्य मुद्दों पर भाजपा सरकार पर निशाना साधा। वहीं सत्तारूढ़ भाजपा ने आरोपों को खारिज करते हुए दावा किया कि विपक्ष किसी ठोस मुद्दे के साथ आने में विफल रहा है। भाजपा नेताओं ने अपनी सरकार की उपलब्धियों का उल्लेख किया।

अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह ने आरोप लगाया कि शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व वाली सरकार ने तानाशाही रवैया अपनाया है। निर्वाचित प्रतिनिधियों की शक्ति छीनकर और उन्हें अधिकारियों को देकर पंचायती राज की शक्तियों को समाप्त कर दिया है। वहीं कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ की अनुपस्थिति को लेकर भी भाजपा नेताओं ने कांग्रेसियों पर तंज कसा।


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