महूः आख़िरी सफर पर भी साथ-साथ रवाना हुए खंडेलवाल दंपत्ति


समाजसेवी जगदीश खंडेलवाल तथा उनकी धर्मपत्नी सरजूबाई का एक घंटे के अंतराल में निधन हो गया। दोनों की अंतिम यात्रा भी साथ-साथ निकली।


अरूण सोलंकी
इन्दौर Updated On :
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– समाजसेवी जगदीश खंडेलवाल तथा उनकी धर्मपत्नी सरजूबाई का घंटे भर के अंतराल में निधन।

महू। तहसील में संभवतः ऐसा पहली बार हुआ जब पैंसठ साल साथ-साथ बिताने के बाद जब पति के निधन की खबर आई तो पत्नी ने भी अपने प्राण त्याग दिए।

समाजसेवी जगदीश खंडेलवाल तथा उनकी धर्मपत्नी सरजूबाई का एक घंटे के अंतराल में निधन हो गया। दोनों की अंतिम यात्रा भी साथ-साथ निकली।

नगर के प्रसिद्ध समाजसेवी जगदीश प्रसाद खंडेलवाल का बुधवार की सुबह निधन हो गया। अभी इनके निधन की खबर सभी को लगी भी नहीं थी कि खंडेलवाल परिवार पर एक और वज्रपात हो गया।

जगदीश खंडेलवाल की धर्मपत्नी सरजूबाई खंडेलवाल का स्वास्थ्य बिगड़ा और कुछ ही देर में उनके भी निधन की खबर आ गई। जगदीश खंडेलवाल वैसे तो मूल रूप से शिक्षक थे। वे ओजस्वी वक्ता के साथ-साथ संस्कृत विषय के विद्धान भी थे।

जगदीश खंडेलवाल मध्य भारत विहिप के कई वर्षों तक कोषाध्यक्ष भी रहे। जगदीश खंडेलवाल की उम्र 89 वर्ष तथा उनकी धर्मपत्नी सरजूबाई की उम्र 85 साल थी।

दोनों ने करीब पैंसठ साल साथ-साथ गुजारे। बुधवार की सुबह सात बजे जगदीश खंडेलवाल तथा आठ बजे उनकी धर्मपत्नी सरजूबाई का निधन हुआ। ग्यारह बजे दोनों की जब अंतिम यात्रा एकसाथ निकली तो पूरा माहौल गमगीन हो गया।

उनके निधन पर राधेश्याम यादव, कंचन सिंह चौहान, जितेंद्र शर्मा, प्रकाश आर्य, रामलाल प्रजापति, योगेश मूंदड़ा, लोकेश शर्मा, बंटी खंडेलवाल, बसंत अग्रवाल, अंनत बियाणी, विनोद जायसवाल सहित बड़ी संख्या में समाजसेवियों ने शामिल होकर दुख व्यक्त किया व श्रद्धांजलि दी।


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