इंदौर। कोरोना संक्रमण का एक मात्र इलाज रेमडेसिविर को बताया गया लेकिन यह सरकार के पास था नहीं जिसके चलते बाजार में नकली इंजेक्शन उतरे और जमकर बिके। इन इंजेक्शन के लगने के बाद लोगों की मौत भी हो गई। लोगों की जान को खतरा था लेकिन यह जानकर भी कुछ लोग नकली इंजेक्शन बनाते रहे और उंचे दामों पर बेचते रहे। इस मामले में छह लोगों पर रासुका भी लगाई जा चुकी है। हालांकि ऐसे मामले लगातार सामने आते रहे हैं।
ऐसे ही इंजेक्शन बेचने वालों को जब पुलिस ने पकड़ा और अगले दिन उनकी खबर अखबारों में आई तो एक व्यक्ति ने पहचान लिया और पुलिस में आरोपी की शिकायत की। शिकायतकर्ता के मुताबिक इसी आरोपी से इंजेक्शन खरीदने के बाद उसके दोस्त के माता-पिता को लगाया गया था और फिर उनकी मौत हो गई थी।
इंदौर में जहां नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन से इंदौर में दंपत्ति की मौत हो गई। इसका खुलासा आरोपियों की फोटो सार्वजनिक होने के बाद हुआ है। इंजेक्शन खरीदने वाले व्यक्ति ने इस बारे में शिकायत इंजेक्शन खरीदने वाले व्यक्ति ने पुलिस से की है। वहीं, इंदौर के विजय नगर क्षेत्र में पकड़े गए 11 आरोपियों में से 6 पर रासुका की कार्रवाई की गई है।
नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन से मौत के संबंध में रविवार को नगर सुरक्षा समिति सदस्यों के माध्यम से एक युवक ने पुलिस से संपर्क किया है। उसने विजय नगर पुलिस को बताया कि दोस्त के संक्रमित पिता और मां के लिए बैच नं.246039-ए वाला इंजेक्शन खरीदा था लेकिन इंजेक्शन लगाने के बाद दोनों की मौत हो गई।
युवक ने अखबारों में छपे आरोपियों के फोटो को देखकर उनमें से एक आरोपी को पहचान लिया और इस बारे में पुलिस को जानकारी दी। पुलिस इस पूरे मामले की जांच कर रही है। आरोपी, युवक और इंजेक्शन से मरने वाले दंपती का नाम उजागर नहीं किया है।
थाना प्रभारी तहजीब काजी ने बताया, इंदौर सहित प्रदेश में कहां-कहां पर उन्होंने नकली इंजेक्शन बेचे हैं, इसकी जानकारी जुटाई जा रही है। पुलिस उन अस्पतालों की जानकारी जुटा रही है, जहां बैच नं.246039-ए के रेमडेसिविर का उपयोग हुआ।
पुलिस अब इन आरोपियों के कॉल डिटेल निकाल रही है। इसके लिए आईजी हरिनारायणचारी मिश्र ने निर्देश भी दिये हैं। नकली इंजेक्शन के कारण अगर मौत सिद्ध होती है तो आरोपियों पर गैर इरादतन हत्या का मामला दर्ज होगा।
आईजी मिश्र ने कहा है कि नकली इंजेक्शन बेचने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। उनकी संपत्ति का ब्योरा भी निकाला जाए। आरोपियों के घरों को जमींदोज भी किया जाएगा। वहीं, जिला प्रशासन द्वारा लगातार पकड़े गए आरोपियों पर रासुका की कार्रवाई की जा रही है।