इंदौर। जिला कलेक्टर मनीष सिंह के द्वारा कर्फ्यू को लेकर दिए गए सख्त आदेशों को अब बदल दिया गया है। मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय की मुख्य खंडपीठ जबलपुर ने इंदौर कलेक्टर को निर्देश दिया है कि सप्ताह में पांच दिन अनिवार्य रूप से फल सब्ज़ियां किराना दुकानों को खोले जाने का नया आदेश पारित करें। इसके बाद इंदौर कलेक्टर ने अपनी ओर से संशोधित आदेश मंगलवार रात को जारी किये।
हाईकोर्ट में यह याचिका चंचल गुप्ता के वकील अभिनव मल्होत्रा के द्वारा लगाई गई थी। उन्होंने किराना, फल सब्जियों और रोज मर्रा के जरूरत की चीजों को 21 मई से 28 मई तक बंद रखने के आदेश के खिलाफ दलील दी थी कि इससे न केवल आम लोगों को परेशानी होगी बल्कि इसके साथ ही छोटे दुकानदारों को नुकसान भी होगा।
उल्लेखनीय है कि कलेक्टर मनीष सिंह ने यह आदेश 20 मई को जारी किये थे। जिसके बाद कलेक्टर के इस आदेश का काफी विरोध हुआ था। किराना और सब्जी व्यापारियों ने कहा था कि प्रशासन को ऐसा निर्णय लेना चाहिए कि छोटे व्यापारी, किराना, सब्जी वालों का काम चल सके। जब इंदौर में संक्रमण दर काफी ज्यादा थी, तो दुकानों को छूट दी गई थी लेकिन जब संक्रमण लगातार घट रहा है, तो दुकानों को बंद करवाया जा रहा है।
हाईकोर्ट के इस आदेश के बाद कलेक्टर के द्वारा नया आदेश जारी कर दिया गया है। इस आदेश के मुताबिक शहर में किराने की खेरची दुकानें नहीं खुलेंगी उनमें ग्राहकों की आवाजाही नहीं हो सकेगी।
ये खेरची दुकानें सुबह 6 से दोपहर 12 तक होम डिलीवरी ही कर सकेंगी, और इन खेरची दुकानों को थोक किराना व्यापारियों द्वारा अपने गोडाउनो से फोन पर ही ऑर्डर लेकर माल की डिलीवरी करना होगी , सियागंज , छावनी , मल्हारगंज , मालवा मिल सहित अन्य थोक बाजार भी बंद ही रहेंगे , इसी तरह फल सब्जी की दुकानें भी नहीं खुलेगी सिर्फ चलाएमान ठेलों के जरिये ही फल सब्जी बेचने की अनुमति रहेगी।
इन फल सब्जी बेचने वालों को भी चोइथराम , निरंजनपुर या अन्य मंडियों से फल सब्जी नहीं मिलेगी।बल्कि प्रशासन ने इसके लिए 7 स्थान तय किए हैं , वहीं से इन्हें फल और सब्जी खरीद ठेलों के जरिए बेचना होगी।
ये व्यवस्था सोमवार से शुक्रवार तक रहेगी . दरअसल शासन-प्रशासन की मंशा स्पष्ट है। कि संक्रमण दर को 5 फ़ीसदी से कम लाया जाए ।जिसके चलते अभी , 31 मई तक लॉक डाउन की सख्ती जारी रहेगी और फिर 1 जून से अनलॉक की प्रक्रिया मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार शुरू की जाना है।