भोपाल। स्वच्छ भारत मिशन ने शहरों के बीच कड़ी प्रतिद्वंदिता तय की है और इसका असर भी अब देखा जा सकता है। इस कड़ी में अगली बारी गांवों की है। केंद्र सरकार अब गांवों में भी एक नई व्यवस्था बनाने की तैयारी कर रही है। जिसके तहत पंचायतों को भी सही मायनों में आदर्श बनाने की तैयारी की जा रही है। आदर्श पंचायत यानी जहां स्वच्छता हो और आत्मनिर्भरता हो।
ग्रामीण एवं पंचायत राज मंत्री महेंद्र सिंह सिसौदिया ने गुना ज़िले की अपनी विधानसभा क्षेत्र की बामोरी को आदर्श क्षेत्र बनाने की तैयारी शुरू कर दी है। यहां केंद्र सरकार की स्वच्छा गृह योजना के तहत काम शुरु किया गया है। प्रदेश में लागू होने से पहले बामोरी में इस योजना पर काम किया जा रहा है। इसके तहत बामोरी की सत्रह ग्राम पंचायतों को चिन्हित किया गया है।
इस प्रोजेक्ट को मंत्री सिसौदिया का सपना बताया जा रहा है। ऐसे में अधिकारी भी इसमें ख़ासे सक्रिय नज़र आ रहे हैं। इसके अलावा ग्रामीणों में भी इसे लेकर खासा उत्साह है। पिछले दिनों मंत्री सिसौदिया ने यहां इस कार्यक्रम की शुरुआत कर यहां सफाई भी की थी।
स्वेच्छागृ कार्यक्रम के तहत बामोरी के तहत आने वाले सत्रह पंचायत क्षेत्रों में इसके लिए तैयारी शुरू कर दी गई है। यहां सबसे ज्यादा ज़ोर स्वच्छता पर दिया जा रहा है। यहां लोगों को जागरुक करने के अलावा घरों से कचरा उठाने की व्यवस्था भी की जा रही है।
स्वेच्छागृह एक पंचवर्षीय योजना होगी, जिसका उद्देश्य गांवों को स्वच्छ बनाना है। नागरिकों की जिम्मेदारी होगी कि वे कचरा कम करें और घरों से निकलने वाले कचरे को घरों के बाहर नालियों या सड़क पर न फेंके बल्कि गीला-सूखा कचरा अलग-अलग रखें।
इसके बाद इन इलाकों की पंचायतों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए काम किया जाएगा। जहां कचरे से खाद और दूसरे अवशिष्टों से साफ पानी निकालकर सिंचाई करने की व्यवस्था की जाएगी। यही नहीं इस इलाके मे जल संरक्षण के लिए भी काम किया जाएगा।
बामोरी पंचायत में स्वच्छता अभियान के लिए शुरुआती प्रक्रिया शुरू हो गई है। रविवार को यहां ड्रोन के द्वारा ज्योग्राफिक सर्वे किया गया। इस काम का ज़िम्मा बीएनपी ट्रेड बिज़ नाम की एजेंसी कर रही है।
इस दौरान विभागीय अधिकारी भी मौजूद रहे वहीं एजेंसी के आतिश राजौरे बताया कि इस पहले दिन ड्रोन कैमरों के माध्यम से क्षेत्र का ज्योग्राफिक सर्वे हुआ है जिसका उद्देश्य क्षेत्र के सभी प्रमुख इलाकों जैसे रिहायश, बाज़ार, सरकारी कार्यालय, स्कूल और सबसे ज़रूरी नालों आदि की जानाकारी ली है।
एजेंसी के नमित अग्रवाल ने बताया कि क्षेत्र में काम शुरु करने से पहले पूरी भौगोलिक जानकारी के आधार पर एक योजना तैयार की जाएगी। इसके बाद जल्दी ही इस योजना पर काम शुरु कर दिया जाएगा।
इसी एजेंसी के विजय भाट सौंदर्यीकरण के काम पर ध्यान देंगे। उनके मुताबिक यदि इलाके में सफाई और सौंदर्यीकरण होगा तो यहां स्थानीय स्तर पर भी कामकाज सुधरेगा।