MSP पर किसानों से गेहूं खरीदी की होगी शुरुआत, प्रशासन ने पूरी की व्यवस्था


किसानों को नहीं आने दी जायेगी परेशानी, पंजीयन करवाये किसानों की होगी गेहूं तुलाई।


आशीष यादव
धार Published On :
wheat procurment dhar

धार। किसानों द्वारा मार्च में गेहूं कटाई के साथ बारिश ने भी किसानों को परेशान कर दिया था। बारिश से हुए नुकसान के कारण किसानों को काफी नुकसान का सामना करना पड़ा।

सरकार द्वारा समर्थन मूल्य खरीदी को लेकर आज केंद्रों पर किसानों की गेहूं तुलाई का काम हो रहा है। बारिश के प्रकोप से खराब हुई फसलों के साथ किसान मंडी ओर सोसाइटी की ओर रुख करेंगे क्योंकि इस बार किसानों का अधिकांश जगह गेहूं खराब हो गया है।

इस बार किसान गेहूं गोदामों में ना रखते हुए बाजार में बेच रहा है। मंडी में भीड़ से बचने के लिए अब किसान समर्थन मूल्य की ओर रुख करेगा। जिले में इस वर्ष समर्थन मूल्य पर गेहूं-चना की खरीदी का श्रीगणेश 25 मार्च से हो जायेगा।

सरकार दुवारा तीन बार गेहूं रजिस्ट्रेशन के लिए साइट खोली क्योकि कोई किसान पंजीयन से नही रह जाए। इसबार भी बारिश व अन्य कारणों से खरीदी आगे बढ़ा दी गई। चना व गेहूं की खरीदी 25 मार्च से 2125 रुपये प्रति क्विंटल में होगी।

जिलेभर में कुल 75 खरीदी केंद्र बनाए गए हैं जिसके बाद किसानों के पंजीयन का कुल आंकड़ा 30 हजार से अधिक पहुंचा है। गत वर्ष जिले में गेहूं के लिए 40 हजार और चना विक्रय के लिए 3 हजार से अधिक किसानों ने पंजीयन करवाया है।

यह है स्लॉट बुकिंग की प्रक्रिया –

स्लॉट बुकिंग के लिए किसान के ई-उपार्जन पोर्टल पर पंजीकृत मोबाइल पर ओटीपी भेजा जाएगा, जिसे पोर्टल पर दर्ज करना होगा। उपार्जन का कार्य सोमवार से शुक्रवार तक किया जाएगा एवं उपज विक्रय के लिए इसी अवधि की स्लॉट बुकिंग की जा सकेगी।

किसान द्वारा उपज विक्रय के लिए स्लॉट बुकिंग उपार्जन के अंतिम 10 दिवस को छोड़कर की जा सकेगी एवं स्लॉट की वैधता अवधि 7 कार्य दिवस होगी। किसानों को उपार्जित फसल का भुगतान आधार लिंक बैंक खाते में डीबीटी के माध्यम से किया जाएगा।

स्लॉट बुकिंग करते समय किसानों को पोर्टल पर आधार लिंक बैंक खाता क्रमांक एवं बैंक का नाम प्रदर्शित किया जाएगा। किसान को अपनी बैंक की पासबुक से खाते का मिलान कर स्वयं पोर्टल पर सत्यापन करना होगा।

उपज बेचने के तीन दिन में आएगी किसानों के खाते में राशि –

उपज बेचने के तीन दिनों में किसानों के खातों में राशि ट्रांसफर की जाएगी। इसके अलावा गेहूं की खरीदी शनिवार से शुरू होगी। ई-उपार्जन की व्यवस्थाओं को लेकर को कलेक्टर प्रियंक मिश्रा द्वारा बैठके ले रहे हैं।

कलेक्टर ने अधिकारियों को सभी केंद्रों पर पर्याप्त व्यवस्थाओं के इंतजाम के निर्देश दिए हैं। किसानों व अन्य लोगों के लिए पीने के पानी, शौचालय, टेंट की व्यवस्था रहेगी।

गेहूं के रकबे मे बढ़ोतरी हुई –

इस वर्ष जिले में रबी सीजन की फसलों की बोवनी 5 लाख हेक्टेयर में हुई है। इसमें सर्वाधिक गेहूं की 3 लाख 10 हेक्टेयर में शामिल है। पिछले वर्ष गेहूं की बोवनी 2 लाख 80 हजार हेक्टेयर में हुई थी और समर्थन मूल्य पर जिले से 70 हजार मीट्रिक टन गेहूं की खरीदी हुई थी।

इस बार गेहूं बोवनी का आंकड़ा 20 हजार हेक्टेयर में बढ़ने से समर्थन मूल्य पर गेहूं खरीदी का लक्ष्य 3 लाख हजार मीट्रिक टन का निर्धारित किया गया है।

जिला आपूर्ति निगम के एनएस मिश्रा ने बताया कि चना की खरीदी 25 मार्च से 10 मई तक और गेहूं की खरीदी होना है। प्रत्येक उपार्जन केन्द्र पर छुट्टी वाले दिन खरीदी नहीं होगी। इसके अलावा प्रतिदिन समर्थन मूल्य पर तुलाई होगी।

सायलो व वेयर हाउस में होगा भंडारण –

विपणन अधिकारी ने बताया कि जिले में संस्थाओं से खरीदे गए गेहूं के भंडारण में परेशानी न आए, इसके लिए प्रशासन ने इस लिए वेयर हाउसिंग और सायलो केंद्रों पर ज्यादा फोकस किया है।

जीएस चौहान ने बताया कि

इस बार ओपन कैंप नागदा के सनोली व धार के पीपलखेड़ा में बनाया गया है, जबकि 54 केंद्र वेयर हाउस व 12 गोदाम लेवर पर बनाए। इसके साथ ही 9 केंद्र सायलो पर है। शेष गेहूं वेयरहाउस व अन्य गोदामों में रखा जाएगा। वेयर हाउस, प्लेटफॉर्म मंडी व अन्य जगह गेहूं रखने की जगह है। इन सभी को मिलाकर जिले में 6 लाख मीट्रिक टन से अधिक गेहूं रखने की जगह है।

उपार्जन संबंधी शिकायतों के लिए समितियां बनाई –

खरीदी को लेकर जिला कलेक्टर प्रियंक मिश्रा ने समर्थन मूल्य पर गेहूं उपार्जन संबंधी समस्त शिकायतों तथा विवादों का अंतिम निराकरण करने के लिए समितियां गठित किए जाने के आदेश जारी किया है जिसमें जिला स्तरीय समिति में कलेक्टर अध्यक्ष होंगे जबकि जिला लीड बैंक अधिकारी, उपायुक्त सहकारिता, उप संचालक कृषि विकास तथा किसान कल्याण जिला सूचना अधिकारी मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला सहकारी केन्द्र बैंक, अधीक्षक भू-अभिलेख, जिला विपणन अधिकारी मार्कफेड, जिला प्रबंधक म.प्र. स्टेट सिविल सप्लाईज कार्पो. जिला प्रबंधक म.प्र. वेयरहाउसिंग कार्पो. सचिव कृषि उपज मंडी समिति में सदस्य बनाए गए हैं तथा जिला आपूर्ति अधिकारी समिति में सदस्य सचिव रहेंगे।


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