मध्य प्रदेश में नई आबकारी नीति: शराब की कीमतों में वृद्धि, नीलामी प्रक्रिया और नई व्यवस्थाएं


मध्य प्रदेश की नई आबकारी नीति 2025-26 में शराब की कीमतों में बढ़ोतरी, ऑनलाइन नीलामी प्रक्रिया, पीओएस मशीन से बिक्री अनिवार्य और ई-बैंक गारंटी जैसी नई व्यवस्थाएं लागू।


आशीष यादव
धार Updated On :

मध्य प्रदेश में नई आबकारी नीति: शराब की कीमतों में वृद्धि, नीलामी प्रक्रिया और नई व्यवस्थाएं

मध्य प्रदेश में नई आबकारी नीति 2025-26 अप्रैल से लागू होने जा रही है, जिसमें कई बड़े बदलाव किए गए हैं। इस बार सरकार ने शराब की कीमतों में बढ़ोतरी करने का निर्णय लिया है ताकि राजस्व की भरपाई की जा सके। साथ ही, शराब दुकानों की नीलामी प्रक्रिया ऑनलाइन की जा रही है, जिससे पारदर्शिता बढ़ेगी और ठेकेदारों को आसान प्रक्रिया मिलेगी।

 

नई नीति के मुख्य बिंदु:

✅ शराब की कीमतों में वृद्धि

✅ ऑनलाइन नीलामी और ई-रजिस्ट्रेशन

✅ पीओएस मशीन से बिक्री अनिवार्य

✅ ई-बैंक गारंटी अनिवार्य

✅ डिफॉल्ट पर अन्य जिलों में भी कार्रवाई

✅ लॉटरी और ई-टेंडरिंग प्रक्रिया

शराब होगी महंगी, 20% अधिक कीमत पर मिलेगा लाइसेंस

नई आबकारी नीति के तहत, शराब की कीमतों में बढ़ोतरी की गई है। सरकार ने तय किया है कि मौजूदा ठेकेदार 20% अधिक शुल्क देकर अपनी दुकान का लाइसेंस रिन्यू करा सकते हैं। यदि ठेकेदार अधिक कीमत नहीं देते हैं, तो दुकान नीलामी प्रक्रिया या लॉटरी सिस्टम के माध्यम से नए ठेकेदारों को दी जाएगी।

 

ठेकेदारों का ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन अनिवार्य

इस बार शराब ठेकों की नीलामी में भाग लेने के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन अनिवार्य कर दिया गया है। ठेकेदारों को ई-आबकारी पोर्टल पर पंजीकरण करना होगा, जिसके बाद वे प्रदेशभर में किसी भी जिले की नीलामी में भाग ले सकेंगे।

पीओएस मशीन से बिक्री होगी अनिवार्य

शराब दुकानों पर पीओएस (Point of Sale) मशीनें अनिवार्य कर दी गई हैं। अब हर बिक्री पीओएस मशीन से होगी, जिससे टैक्स चोरी रोकी जा सकेगी और सरकारी रिकॉर्ड में पूरी जानकारी दर्ज होगी।

 

नियमों का उल्लंघन करने पर दंड:

1. पहली बार नियम तोड़ने पर ₹25,000 का जुर्माना

2. तीन बार उल्लंघन पर दुकान का लाइसेंस रद्द

 

ई-बैंक गारंटी की नई व्यवस्था

नई नीति के तहत अब ठेकेदारों को ई-बैंक गारंटी जमा करनी होगी, जिसकी वैधता 30 अप्रैल 2026 तक होगी। इस गारंटी का उपयोग केवल शराब दुकान ठेके के लिए किया जा सकेगा और किसी अन्य उद्देश्य के लिए नहीं।

 

डिफॉल्ट करने पर अन्य जिलों में भी होगी कार्रवाई

अब सरकार ने ठेकेदारों की व्यवसायिक हिस्ट्री को ऑनलाइन जोड़ दिया है। यदि कोई ठेकेदार किसी जिले में भुगतान करने में असमर्थ रहता है, तो उसकी जानकारी अन्य जिलों में भी भेजी जाएगी। इससे डिफॉल्ट करने वाले ठेकेदारों पर अन्य जिलों में भी कार्रवाई की जाएगी।

 

88 दुकानों का बनाया गया ग्रुप

पिछले साल धार जिले की 88 शराब दुकानों को मिलाकर एक ग्रुप बनाया गया था, जिससे सरकार को 396 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ था। इस साल सरकार को 474 करोड़ रुपए की आय होने की उम्मीद है।

 

लॉटरी सिस्टम और ई-टेंडरिंग होगी लागू

यदि कोई ठेकेदार अपनी दुकान का लाइसेंस नवीनीकरण नहीं कराता, तो उसके लिए लॉटरी प्रक्रिया अपनाई जाएगी।

 

 महत्वपूर्ण तिथियां:

 

  • 21 फरवरी तक नवीनीकरण के लिए आवेदन स्वीकार किए गए।
  • 22 से 27 फरवरी तक लॉटरी और ई-टेंडर प्रक्रिया चलेगी।

 


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