स्वतंत्रता दिवस पर टूटी दीवारों के बीच समारोह: किला मैदान की खस्ताहाल स्थिति


खिलाड़ियों द्वारा कई बार सूचित किए जाने के बावजूद, नगर पालिका ने जालियों की मरम्मत का कोई ठोस कदम नहीं उठाया है।


आशीष यादव
धार Updated On :

स्वतंत्रता दिवस के 78वें महोत्सव के लिए देश भर में तैयारियों का जोर है, लेकिन धार के किला मैदान की स्थिति इस वर्ष चिंता का विषय बनी हुई है। स्वतंत्रता दिवस के प्रमुख आयोजन के लिए तैयार हो रहे इस मैदान की जर्जर स्थिति ने सवाल खड़े कर दिए हैं। टूटी जालियां और खस्ताहाल दीवारें समारोह के आयोजन को लेकर गंभीर प्रश्न उत्पन्न कर रही हैं।

 

मैदान की स्थिति:

धार जिले का किला मैदान, जो स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्र दिवस जैसे प्रमुख राष्ट्रीय पर्वों, दशहरा कार्यक्रमों और खेलकूद गतिविधियों के लिए जाना जाता है, वर्तमान में बेहद खस्ताहाल स्थिति में है। जालियां टूट चुकी हैं और दीवारों का प्लास्टर गिर रहा है। नगर पालिका की आर्थिक तंगी के कारण इन समस्याओं का समाधान नहीं हो सका है। अधिकारियों ने बार-बार मैदान का निरीक्षण किया है, लेकिन स्थायी समाधान की दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है।

 

खिलाड़ियों को खतरा:

किला मैदान पर राष्ट्रीय स्तर की खेल प्रतियोगिताएं भी आयोजित की जाती हैं। वर्तमान में, मैदान पर चूरी डाले जाने के कारण खिलाड़ियों को चोट लगने का खतरा बढ़ गया है। पिछले वर्षों में लाल मिट्टी का इस्तेमाल किया जाता था, जो खेल के लिए फायदेमंद थी, लेकिन अब औपचारिकता के तहत चूरी डाली जा रही है, जिससे मैदान की सुरक्षा और गुणवत्ता प्रभावित हो रही है। खिलाड़ियों को अभ्यास करते समय अत्यधिक सावधानी बरतनी पड़ रही है।

 

जालियों की दयनीय स्थिति:

2020 में, नगर पालिका ने रतलाम रोड के किनारे जालियां लगाकर मैदान को आवारा मवेशियों और अतिक्रमण से बचाने का प्रयास किया था। लेकिन अब ये जालियां टूट चुकी हैं और गिर रही हैं। खिलाड़ियों द्वारा कई बार सूचित किए जाने के बावजूद, नगर पालिका ने जालियों की मरम्मत का कोई ठोस कदम नहीं उठाया है। यदि समय रहते मरम्मत नहीं की गई, तो जालियां और भी अधिक खराब हो जाएंगी।

 

अधिकारियों की लापरवाही:

स्वतंत्रता दिवस के आयोजन के लिए अधिकारियों को मैदान की सजावट और मरम्मत के निर्देश दिए गए थे, लेकिन इस बार की तैयारियों में केवल खानापूर्ति ही की गई है। मैदान पर मौजूद गड्ढे, टूटी दीवारें, और खराब लाइटें बिना किसी सुधार के हैं। अधिकारियों ने केवल समारोह के दिन फोटो खिंचवाकर अपनी जिम्मेदारी पूरी करने का प्रयास किया, जबकि मैदान की वास्तविक स्थिति में कोई सुधार नहीं हुआ है।

 

स्वतंत्रता दिवस के इस महत्वपूर्ण अवसर पर, धार जिले के किला मैदान की जर्जर स्थिति ने समारोह की भव्यता और सुरक्षा पर सवाल खड़ा कर दिया है। नगर पालिका और जिला प्रशासन को जल्द से जल्द ठोस कदम उठाकर मैदान की मरम्मत और सुधार करना चाहिए ताकि समारोह सही तरीके से और सुरक्षित रूप से आयोजित किया जा सके।


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