विधायक संजय शुक्ला को इसलिए मिला मौका


संजय शुक्ला का चुना जाना किसी के लिये कोई अचरज भरी बात नहीं रही। वे पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के करीबी भी बताए जाते हैं। दरअसल कांग्रेस पार्टी शहर में अपनी वापसी की राह खोज रही है।  इस काम में उसे हर तरह से एक मज़बूत प्रत्याशी की ज़रूरत थी और फिलहाल संजय शुक्ला की ऐसा एक चेहरा नज़र आ रहे हैं।


DeshGaon
इन्दौर Updated On :

इंदौर। कांग्रेस द्वारा पूर्व मंत्री विजयलक्ष्मी साधो और भोपाल की पूर्व महापौर विभा पटेल को इंदौर में नगरीय निकाय चुनाव का प्रभारी बनाया गया है। गुरुवार को इनकी उपस्थिति में कांग्रेस का कार्यकर्ता सम्मेलन आयोजित किया गया। यह सम्मेलन निकाय चुनावों के बारे में था लिहाज़ा यहां दावेदार और कार्यकर्ता दोनों ही बड़ी संख्या में पहुंचे।

सभी को पता था कि इस कार्यक्रम में महापौर पद के लिए पार्टी के प्रत्याशी की घोषणा होनी है और लगभग सभी को यह भी पता था कि प्रत्याशी का नाम संजय शुक्ला होगा क्योंकि इसके बारे में पहले से ही चर्चाएं हो रहीं थीं। कार्यक्रम में पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा ने इसकी घोषणा भी कर दी।

यह घोषणा करते हुए वर्मा ने कहा कि अब कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं को युवाओं के लिए जगह छोड़नी चाहिए। उन्होंने कहा कि नगर निगम चुनाव में ज्यादा से ज्यादा युवाओं को मौका दिया जाना चाहिए। सज्जन वर्मा ने कहा कि भाजपा को महापौर का उम्मीदवार नहीं मिल रहा है। मैंने कहा कैलाश विजयवर्गीय को लड़ा दो। कैलाश विजयवर्गीय और संजय शुक्ला में टक्कर हो जाना चाहिए। उन्होंने कांग्रेस कार्यकर्ताओं से पूछा इन दोनों में कौन जीतेगा। इस कार्यक्रम में सभी 85 वार्डों से टिकिट के दावेदार पहुंचे थे। उनके अलावा यहां कांग्रेस के सभी संगठनों के प्रतिनिधि भी मौजूद रहे।

संजय शुक्ला का चुना जाना किसी के लिये कोई अचरज भरी बात नहीं रही। वे पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के करीबी हैं।  दरअसल कांग्रेस पार्टी शहर में अपनी वापसी की राह खोज रही है।  इस कड़ी में उसे हर तरह से एक मज़बूत प्रत्याशी की ज़रूरत थी और फिलहाल संजय शुक्ला की ऐसा एक चेहरा नज़र आ रहे हैं। शुक्ला ने दो बार के विधायक रहे सुदर्शन गुप्ता को हराया है।

संजय शुक्ला प्रदेश के सबसे धनी राजनेताओं में शामिल हैं और उनके भाजपा में भी अच्छे रिश्ते हैं। ऐसे में वे बेहतर समन्यवक के तौर पर भी काम कर सकते हैं। कांग्रेस के वोट के अलावा उन्हें अपने परिवार की हिन्दूवादी छवि का भी लाभ मिल सकता है। ऐसे में कांग्रेस को लगता है कि शुक्ला उनके लिए एक जिताउ उम्मीदवार हो सकते हैं। शुक्ला के अलावा फिलहाल बहुत कम कांग्रेसी नेता ऐसे हैं जिन्हें पूरे शहर में स्वीकार्यता मिल सकती है। यही वजह है कि कांग्रेस ने शुक्ला को चुना है। शुक्ला ने अपनी चुनावी तैयारियां शुरु कर दी हैं और अब आने वाले दिनों में ये तैयारियां और तेज़ होंगी।



Related